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विश्व के 12-प्रमुख जलप्रपात और देश

Trick

सुन यार कल अ.तुगलक और कामरान गुना से एक वेन द्वारा डेक्कन, मर्दाना जोस भर कर फिर गए।

Note

अ.तुगलक मतलब अब्दुल तुगलक मुस्लिम धर्म में अगर नाम बड़ा हो तो उसे शार्ट करके लिखते हे और डेक्कन मतलब दक्षिण भारत का क्षेत्र होता है आपने IPL क्रिकेट मैच में डेक्कन नाम की एक टीम भाग लेती है सुना होगा।

ट्रिक का विस्तारित रूप :

[1] सुन=सु+न

सु-सुथरलैण्ड (580 मी. ऊँचा जलप्रपात)

न-न्यूज़ीलैण्ड (देश)

[2] यार कल=या+र+कल

या-योसेमाइट (739 मी. ऊँचा जलप्रपात)

र-रिब्बोन (491 मी. ऊँचा जलप्रपात)

कल-कैलिफोर्निया (अमेरिका देश)

Fact-योसेमाइट और रिब्बोन दोनों जलप्रपात कैलिफोर्निया में स्थित है।

[3] अ.तुगलक=अ+तुगलक

अ-दक्षिण अफ्रीका (देश)

तुगलक-तुगेला (614 मी. ऊँचा जलप्रपात)

और-silent

[4] कामरान गुना=कामरान+गुना

कामरान-ग्रेट कामारना (488 मी. ऊँचा जलप्रपात)

गुना-गुयाना (देश)

से-silent

[5] एक वेन=ए+क+वेन

ए-एंजिल (979 मी. विश्व का सबसे ऊँचा जलप्रपात)

क-कुकवेनन (610 मी. ऊँचा जलप्रपात)

वेन-वेनेज़ुएला (देश)

Fact-एंजिल और कुकवेनन दोनों जलप्रपात वेनेज़ुएला में स्थित है।

द्वारा-silent

[6] डेक्कन=डे+क्+क+न

डे-डेल्ला (440 मी. ऊँचा जलप्रपात)

क्-कनाडा (देश)

[7] क-कनाडा एवं अमेरिका की सीमा पर (देश)

न-न्याग्रा (120 मी. ऊँचा जलप्रपात)

[8] मर्दाना=मर्दा+ना

मर्दा-द.मर्डाल्फोसेन (655 मी. ऊँचा जलप्रपात)

ना-नॉर्वे (देश)

[9] जोस भर=जोस+भर

जोस-जोग/गरसोप्पा/महात्मा गाँधी (255 मी. भारत का सबसे ऊँचा जलप्रपात)

भर-भारत (देश)

Note : भारत के 10 प्रमुख जलप्रपात-नदी की Trick के लिए यहाँ click करे।

कर-silent

[10] फिर गए=फिर+गए

फिर-फ़्रांस (देश)

गए-गवार्नी (422 मी. ऊँचा जलप्रपात)

महत्त्वपूर्ण बिंदु :

(1) एंजिल जलप्रपात कैरो नदी पर स्थित है।

(2) जोग/गरसोप्पा जलप्रपात शरावती नदी पर स्थित है। इसे महात्मा गाँधी जलप्रपात भी कहते है।
गुप्तकालीन : प्रसिद्ध 6 मंदिर और स्थान/शहर/राज्य

Trick

पान के लिए तिज को विष्णु और शिव का भूखा नाग MP से UP में देव झा को दंश करके कानपुर के भीतर गया।

NOTE

MP में मंदिर और स्थान के लिए "पान के लिए तिज (हिन्दू तिथीं) को विष्णु और शिव का भूखा नाग" तक ट्रिक है और UP में मंदिर और स्थान के लिए "देव झा को दंश करके कानपूर के भीतर गया" तक ट्रिक है।

[1] पान के=पा+न+के

पा-पार्वती मंदिर

न+के-नयना कुठार (मध्य प्रदेश)

लिए-silent

[2] तिज को विष्णु=ति+ज+को विष्णु

ति+ज-तिगवा,जबलपुर(मध्य प्रदेश)

को विष्णु-विष्णु मंदिर

और-silent

[3] शिव का भूखा नाग=शिव का+भू+खा+नाग

शिव का-शिव मंदिर

भू+खा+नाग-भुमरा और खोह,नागौदा (मध्य प्रदेश)

Fact-शिव मंदिर मध्य प्रदेश के नागौदा के पास भुमरा और खोह नामक 2 स्थानों पर अलग अलग है।

MP से-अभी तक के सभी ऊपर के 4 मंदिर MP में स्थित है।

[4] UP में-बचे हुए 2 मंदिर UP में स्थित है।

देव झा को दंश=देव+झा को+दंश

देव+झा को-देवगढ़,झाँसी(उत्तर प्रदेश)

दंश-दशावतार मंदिर

करके-silent

[5] कानपूर के भीतर=कानपूर के+भीतर

कानपूर के-भीतर,कानपुर(उत्तर प्रदेश)

भीतर-भीतर मंदिर/लक्ष्मण मंदिर (ईंटो द्वारा निर्मित)

गया-silent

महत्त्वपूर्ण बिंदु :

(1) गुप्त सम्राट वैष्णव धर्म के अनुयायी थे।

(2) गुप्तकाल में वैष्णव धर्म संबंधी सबसे महत्त्वपूर्ण अवशेष देवगढ़ (झाँसी) का दशावतार मंदिर है।

(3) अजंता में निर्मित कुल 29 गुफाओ में वर्तमान में केवल 6 ही शेष है, जिनमे गुफा संख्या 16 एवं 17 ही गुप्तकालीन है। इसमे गुफा संख्या 16 में उत्कीर्ण मरणासन्न राजकुमारी का चित्र प्रशंसनीय है।

(4) गुफा संख्या 17 के चित्र को चित्रशाला कहा गया है। इस चित्रशाला में बिद्ध के जन्म, जीवन, महाभिनिष्क्रमण एवं महापरिनिर्वाण की घटनाओं से सम्बंधित चित्र उद्धृत किए गए है।

(5) अजंता की गुफ़ाएँ बौद्धधर्म की महायान शाखा से सम्बंधित है।

(6) गुप्तकाल में निर्मित अन्य गुफा बाघ की गुफा है, जो ग्वालियर के समीप बाघ नामक स्थान पर विंध्यपर्वत को काटकर बनायीं गयी थी।

(7) मंदिर बनाने की कला का जन्म गुप्तकाल में ही हुआ।



गुप्तकाल : चन्द्रगुप्त-ll के 5 प्रमुख दरबारी विद्वान

गुप्तकाल : चन्द्रगुप्त-ll के 5 प्रमुख दरबारी विद्वान

Trick

चन्द्रगुप्त के काल में आवारा धन बहुत था।

[1] चन्द्रगुप्त के-चन्द्रगुप्त-ll के दरबार में रहने वाले प्रमुख विद्वान

काल में-कालिदास

आवारा=आ+वारा

[2] आ-आर्यभट्ट

[3] वारा-वाराहमिहिर

[4] धन-धन्वन्तरि

[5] बहुत-ब्रम्हगुप्त

था-silent

महत्त्वपूर्ण बिंदु :

(1) चन्द्रगुप्त-ll के शासनकाल में संस्कृत भाषा का सबसे प्रसिद्ध कवि कालिदास थे।

(2) चन्द्रगुप्त-ll के दरबार में रहनेवाला आयुर्वेदाचार्य धन्वन्तरि थे।

(3) आर्यभट्ट ने आर्यभट्टियम एवं सूर्यसिद्धांत नामक ग्रन्थ लिखे। इसी ने सर्वप्रथम बताया कि पृथ्वी सूर्य के चारों ओर घूमती है।

(4) पुराणों की वर्तमान रूप में रचना गुप्तकाल में हुई। इसमें ऐतिहासिक परम्पराओं का उल्लेख है।

(5) सांस्कृतिक उपलब्धियों के कारण गुप्तकाल को भारतीय इतिहास का स्वर्ण युग कहा जाता है।

(6) याज्ञवल्क्य, नारद, कात्यायन एवं बृहस्पति स्मृतियों की रचना गुप्तकाल में ही हुई।

(7) समुद्रगुप्त का उत्तराधिकारी चन्द्रगुप्त-ll हुआ जो 380 ई. में राजगद्दी पर बैठा। शको पर विजय के उलक्ष्य में चन्द्रगुप्त-ll ने चाँदी के सिक्के चलाए। इसके शासनकाल में चीनी बौद्ध यात्री फाहियान भारत आया था।

(8) गुप्तकाल में चाँदी के सिक्को को रूप्यका कहा जाता था।

(9) गुप्तकाल में विष्णु शर्मा द्वारा लिखित पंचतंत्र संस्कृत भाषा में संसार का सर्वाधिक प्रचलित ग्रन्थ माना जाता है। बाइबिल के बाद इसका दूसरा स्थान है। इसे पाँच भागो में बाँटा गया है-

(i) मित्रभेद

(ii) मित्रलाभ

(iii)संधि-विग्रह

(iv) लब्ध-प्रणाश

(v) अपरिक्षाकारित्व।

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